1. चाँद मोहम्मद के भक्त - TopicsExpress



          

1. चाँद मोहम्मद के भक्त कहते है ,की साँईं कौन से धरम के थे कोई नही बता सकता......?? मे कुछ प्रूफ दे कर सिद्ध करूंगा की साई एक मुस्लिम था :- 1. साई की आरती जो की साँईं के तथाकथित मंदिरो मे होती है, की एक लाइन है - " गोपीचंदा मंदा त्वांची उदरिले ! मोमिन वंशी जन्मुनी लोंका तारिले !" अर्थात :* मोमिन वंशी का मतलब मुस्लिम ख़ानदान,,,, 2. साईं सत्चरित्र के अध्याय 28 में ये खुद कहता है मैं निम्न जात का यवनी (मुसलमान) हूँ..... 3. साई सत्चरित मे कई बार आया है की उनके होठो पर हमेशा "अल्लाह मलिक" रहता था, अगर वो हिन्दू होते तो "जय श्री राम " या जय श्री हरि या कुछ और बोलते......? 4.साई सत्याचरित मे लिखा है की "बाबा खाने से पहले ये फातिहा कुरान पढ़ता थे", क्या कोई हिन्दू खाना खाने से पहले फतिया पढता है.....? 5. इसके अलावा पहनावे से लेकर खान पान और हरकते सब मुसलमान की है, सत्याचरित मे कई बार बकरा काटने और अन्य बाते है....? जो ये सिद्ध करती है की साँईं एक कटवा मुस्लिम था, क्या ये सब बाते हिन्दुओ को मालूम नहीं है ....? या सब कुछ जानते हुए भी अपने सनातन धर्म के साथ एक मोमिन का नाम जुड़ना देखना चाहते है....? 2. झाँसी की रानी लक्ष्मीबाई के हत्यारे के पुत्र साँईं उर्फ चाँद मिया को राम बना कर उनकी की पूजा कर के सीता माँ तक को कलंकित कर रहे किसी भी हिंदू बस मेरे इन प्रश्नो का उत्तर दे और मुझ मे खुद से बड़ा धर्म द्रोही होने का सबूत ले.... १- साई का दिया नारा "सब का मलिक एक",, आख़िर वो *एक* है कौन ?? २- साई 1992 के श्री राम आंदोलन के बाद से ही मुख्य चर्चा मे क्यो आए ??? ३- साई का नाम राम के ही साथ क्यों जुड़ा ?? शिव, ब्रह्मा, इंद्र, वरुण, अग्नि आदि देव के साथ क्यों नही ?? ४- साई अगर राम हैं तो उनका कोई भक्त अपने घर की किसी की अर्थी के पीछे साई नाम सत्य है का नारा क्यों नही लगाता ?? उस समय सिर्फ़ राम नाम सत्य है क्यों बोला जाता है ?? ५- अगर साई देव है तो आज तक किसी देव ने किसी अन्य देव के नाम का सहारा नही लिया था या किन्ही २ देव का नाम एक साथ नही जुड़ा जैसे शिव - विष्णु कभी नही रहा, इंद्र - ब्रह्मा कभी नही, वरुण - अग्नि कभी नही, अगर साथ रहा है तो उनकी धर्मपत्नियों के नाम जैसे भवानी - शंकर, सीता - राम, राधा - कृष्ण, रति - इंद्र फिर आख़िर साई - राम कैसे ?? क्या देवताओं ने खुद का नियम बदल दिया ??? ६-अगर साई श्री राम हैं तो इस हिसाब से ये भगवान विष्णु के अवतार हुए,,, फिर क्या हमारी माता लक्ष्मी छीर सागर मे इनके ही पैर दबा रही हैं ?? आख़िर बार बार इन्होने मेरे राम को ही निशाना क्यों बनाया.. क्यों की 1992 मे अगर हिंदू कभी संगठित हुआ तो सिर्फ़ श्री राम के नाम पर... अगर दुनिया ने हिंदुत्व का जलवा देखा था तो बस मेरे राम के नाम पर... अगर आज तुम राम से डोर ना हुए होते, अगर वही जलवा आज तक होता तो आज अमेरिका भी हमारे कदमो मे गिरा होता .. वो कमाल था मेरे राम का...... इसलिए बार बार मेरे राम के नाम को लक्ष्य बनाया गया.. कभी पेरियार नाम के शैतान की सच्ची रामायण बना कर तो कभी चाँद मिया को साई राम बना कर... मैं चुनौती देता हू तुम पूरे साई समाज को.. तुम हिंदू हो ही नही सकते.. और अगर हो भी तो हिंदुत्व के लिए सतयुगी रावण , द्वापर युगी कन्स और कलयुगी दिग्विजय से ज़यादा ख़तरनाक हो..... और हाँ,, साई (चाँद मिया) को श्री राम कहना सूरज पर थूकने की कोशिश करने के समान है जहा सूरज नही बस तुम्हारा वो मुह गंदा होगा जिस मुह से तुम साई को राम कह रहे हो......हे माँ सीता इन्हे कभी क्षमा मत करना क्यों की इनको अभी भी आप की अग्नि परीक्षा चाहिए........ जय ­श्री राम.. जय जय श्री राम....
Posted on: Fri, 05 Jul 2013 03:09:37 +0000

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