Agra--Tajmahel-ताजमहल---कहने को संगेमरमर की इमारत, देखो तो एक महल , सोचो तो एक मक़बरा ....पर अगर महसूस करो तो ना तो सोचा जायेगा, ना ही कहा जायेगा बस देखा और मेहसूस किया जायेगा। एक मुस्लिम बादशाह का सपना था जिसे एक हिन्दू कारीगर ने हकीकत मे बदल दिया।...देखा तो बस यही खयाल आया।....... यूं ही सलाम नहीं करती दुनिया मेरे वजूद को, कोई दरार तक नहीं है मेरी इन दीवारों मे !! एक बादशाह की मुहब्बत ,ख्वाब और एहसास हूँ मैं, संगेमरमर को तरस कर कोहिनूर बना दिया कुछ कलाकारों ने!!!
Posted on: Wed, 13 Nov 2013 08:14:09 +0000
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