एक बैंकर के द्वारा लिखा गया प्रेम पत्र तुम मेरी जिंदगी में यूँ आई, जैसे closing के समय पर कोई बड़ा deposit आ गया। मैंने तुम्हारे सारे पत्र vouchers की तरह संभाल कर रखा है। तुम मेरी मुहब्बत को Receivables की तरह वसूल क्यों नहीं करती। मैं अपनी ज़िंदगी से खुशियाँ debit कर तुम्हारी ज़िंदगी में credit करना चाहता हूँ। मगर तुमने मेरी मुहब्बत को sc payable में रखकर अच्छा नहीं किया और अब तो तुमने मेरे सारे गिफ्ट्स को sundries में रखकर तो हद ही कर दी है। फिर भी मैं तुम्हारे प्यार का bonus हासिल कर अपने प्यार को npa होने से बचाना चाहता हूँ। मेरा online प्यार स्वीकार करो तथा अपने दिल से वादा करो कि हमलोग अपने प्यार को हमेशा standard asset बनाए रखेंगे। सिर्फ तुम्हारा ATM (एक तमीजदार महबूब)
Posted on: Sun, 08 Sep 2013 05:14:54 +0000
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