पुनर्जन्म : कुछ तार्किक - TopicsExpress



          

पुनर्जन्म : कुछ तार्किक प्रश्न Know the Truth 1. सांसारिक इतिहास के वैज्ञानिक अध्ययन से साबित हो चुका है कि इन्सान से पहले अन्य जीव जन्तु, कीट पतंगों और वनस्पतियों की उत्पत्ति हुई, प्रश्न यह है कि ये वस्तुएं अगर मनुष्य के बुरे कर्मो का परिणाम हैं तो मनुष्य से पहले इनकी उत्पत्ति किस के बुरे कर्मो का परिणाम था ? 2. अन्य जीव जन्तु एवं वनस्पति इन्सान की एसी आवश्यकताएं हैं कि अगर ये न रहें तो इन्सानी जीवन कठिन हो जाए, अगर ये इन्सान के बुरे कर्मो का परिणाम हैं तो मानना होगा कि इन सब वस्तुओं के अस्तित्व को बनाये रखने के लिये बुरे कर्म भी जरूरी हैं, जो धर्म के विपरीत हैं। 3. कलयुग में इन्सानी आबादी का बढ़ना भी इस ख्याल का खंडन करता है। स्पष्ट है कि अगर अन्य वस्तुएं इन्सान के बुरे कर्मो का परिणाम होती हैं तो इस युग में इन्सानी आबादी घटती चली जाती, और अन्य वस्तुएं अधिक होती, जबकि वर्तमान में स्थितिविपरीत है। 4. अगर इन्सान का लंगड़ा-लूला, अन्धा-बहरा होना उसके पहले जन्म के बुरे कर्मो का परिणाम है, तो प्रश्न उठता है कि आज दुनिया भर मेंे पोलियों के खिलाफ आन्दोलन करके इन्सान के लंगडा पैदा होने पर काफी हद तक नियन्त्रण कर लिया गया है। आखिर यह कैसे हुआ कि पोलियो ड्राप की दो बूंद मनुष्य के किसी गुनाह का कफ्फारा बन गई ? 5. यह सिद्धान्त, गरीबों, कमज़ोरों और अपाहिजों से सहानुभूति और हमदर्दी को घटाता है, क्यांेकि अगर यह विकार उनके पिछले कर्मो का फल है तो उनकी मदद क्यों की जाए? और यह धर्म की शिक्षा के खिलाफ है। 6. अगर इन्सानी विकार और उस पर होने वाली जुल्म व ज्यादती व आपदाओं की पीड़ा, सभी उसके पिछले जन्म के कर्मो का परिणामहंै तो फिर मानना चाहिए कि यहाँ पर जो भी हो रहा है वह सब न्यायसंगत है, लूटमार अत्याचार सब कुछ तर्कसंगत है, न तो कुछ पाप बचता है, और न पुण्य का आधार । क्योंकि जैसा किसी ने किया था वैसा भुगत रहा है।
Posted on: Mon, 21 Oct 2013 14:28:44 +0000

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